उज्जैन/भोपाल। जिन लोगों को यह गलतफहमी है कि मध्यप्रदेश में सभी जगह पुलिस के कामकाज पर राजनेताओं की दखलंदाजी है तो वे लोग अपनी गलतफहमियां दूर कर ले..। गृहमंत्री भूपेंद्र सिंह के गृह जिले में पुलिस फ्री हैंड काम करती है। कभी भी किसी व्यक्ति विशेष के लिए कोई फोन किसी पुलिस अधिकारी के पास नहीं पहुंचता है ।इसका सबसे बड़ा कारण सागर जिले का क्राइम कंट्रोल है और अब इस क्राइम कंट्रोल पर भारत सरकार की भी मुहर लग गई है।

अगर मध्य प्रदेश का पुराना इतिहास देखा जाए तो पूर्व गृहमंत्री रह चुके नेताओं को जनता ने चुनावों में भारी बहुमत से हराया है। वरिष्ठ भाजपा नेता हिम्मत कोठारी भीी भारी मतों से रतलाम से चुनाव हार चुके हैं । इसके पीछे कई कारण भी गिनाए जाते हैं । यह भी कहा जाता है कि जिस नेता के पास ग्रह विभाग होता है, उस नेता का मंत्री पद जाने के बाद चुनाव जीतना बेहद मुश्किल हो जाता है, लेकिन राजनीतिक किस्सों और वर्तमान परिस्थितियों को देखते हुए संभागीय मुख्यालय सागर में कुछ अलग ही परिस्थितियां देखी जा सकती है।
गृहमंत्री भूपेंद्र सिंह के गृह जिले में पुलिस फ्री हैंड काम करती है । पुलिस को किसी प्रकार का कोई राजनीतिक दबाव महसूस तक नहीं होता है। साल 2017 के क्राइम कंट्रोल के मामले में संभागीय मुख्यालय सागर को नंबर वन घोषित किए जाने के बाद कई नई नई चौंकाने वाली जानकारियां सामने आ रही है। पूरे देश में भारत सरकार ने सागर को सबसे सुरक्षित शहर घोषित किया है । भारत सरकार के शहरी विकास मंत्रालय ने देश के अलग-अलग शहरों का सर्वे किया था । इस सर्वे में सागर नंबर वन आया है। इस क्राइम पेट्रोल का सबसे बड़ा कारण गृहमंत्री भूपेंद्र सिंह का पुलिस को फ्री हैंड काम करने का आदेश है। पुलिस अधीक्षक के पद पर रहते हुए IPS अधिकारी सचिन कुमार अतुलकर गृहमंत्री के जिले में ताबड़तोड़ कार्रवाई की। पुलिस अधीक्षक के नेतृत्व में कई बड़े वाहन चोर पकड़े गए। इसके अलावा हत्या और लूट जैसे गंभीर अपराधों में कई दर्जन बदमाशों से पूछताछ की गई। इनमें से कुछ आरोपियों पर राजनीतिक संरक्षण होने की बातें भी सामने आती रही लेकिन गृहमंत्री भूपेंद्र सिंह अथवा जिले केे किसी नेता के हस्तक्षेप की कोई खबरें सामने नहीं आई। इसी वजह से सागर को सबसे सुरक्षित शहर घोषित किया जा सकता है । जब गुंडों को राजनीतिक संरक्षण मिल जाता है तो एक बड़ा वर्ग उस नेता के खिलाफ हो जाता है जो अपराधियों को संरक्षण देते हुए पुलिस पर दबाव डालता है । यह बात कई चुनाव में सिद्ध हो चुकी है। IPS अधिकारी सचिन कुमार अतुलकर इस तरीके के क्राइम कंट्रोल को लेकर बड़े पैमाने पर अभियान चलाए है उसका लाभ आने वाले विधानसभा चुनाव में सरकार को भरपूर मिलेगा।