उज्जैन। उज्जैन के नवागत कलेक्टर शशांक मिश्रा की रफ्तार ने प्रशासनिक हल्के ही नहीं बल्कि आम लोगों में भी खलबली मचा दी है । नवागत कलेक्टर शशांक मिश्रा ने आदेश जारी होने के कुछ ही घंटों के भीतर उज्जैन पहुंचकर भगवान महाकाल का आशीर्वाद लेकर पदभार भी ग्रहण कर लिया। युवा आईएएस अधिकारी शशांक मिश्रा अपनी अलग ही कार्यशैली के से जाने जाते हैं ।
उज्जैन कलेक्टर के रूप में युवा आईएएस अधिकारी शशांक मिश्रा को सरकार ने कमान सौंपी है। श्री मिश्रा सोमवार शाम 5 बजे तक भोपाल में वीडियो कांफ्रेंसिंग में मौजूद थे। इसके बाद वे तुरंत तबादला आदेश के पालन में उज्जैन के लिए रवाना हुए । उज्जैन पहुंच कर युवा आईएएस अधिकारी शशांक मिश्रा ने पहले भगवान महाकाल का आशीर्वाद लिया। जब लोगों तक इस बात की खबर पहुंची कि उज्जैन के नवागत कलेक्टर आ चुके हैं तो लोग हतप्रभ रह गए। इसके बाद नवागत कलेक्टर श्री मिश्रा ने दफ्तर पहुंचकर पदभार ग्रहण किया । इतना ही नहीं श्री मिश्रा ने तत्काल प्रशासनिक अधिकारियों की बैठक बुलाई और उनसे परिचय प्राप्त करने के बाद अपनी कार्यशैली के बारे में उन्हें बताया। श्री मिश्रा ने कहा कि शासन और प्रशासन की योजनाओं का लाभ समाज के अंतिम पंक्ति के लोगों तक पहुंचे। इसके अलावा त्वरित और निष्पक्ष न्याय की व्यवस्था सुचारू रूप से चलती रहे । ऐसी कार्यशैली के रूप में कार्य किया जाएगा।
गौरतलब है कि आईएएस अधिकारी शशांक मिश्रा पूर्व में सिंगरौली और बेतुल के कलेक्टर भी रह चुके हैं। उन्हें 21 दिसंबर 18 को बेतूल से मंत्रालय में पदस्थ किया गया था। इसके बाद एक पखवाडे में ही श्री मिश्रा को धार्मिक नगरी उज्जैन में कलेक्टर बनाकर भेज दिया गया। पूर्व में श्री मिश्रा जहां भी पदस्थ रहे हैं, वहां शिक्षा विभाग से लेकर स्वास्थ्य विभाग तक और आम लोगों से जुड़े समस्त विभागों पर पैनी नजर रखी है। वे स्कूलों में आकस्मिक निरीक्षण कर शिक्षा विभाग के ढर्रे को भी सुधारने का काम कर चुके हैं।
उज्जैन के लोग भी नवागत कलेक्टर की रफ्तार देखकर चौक गए। संभवत: उज्जैन के लिए पहला मौका है जब आदेश जारी होने के चंद घंटों में कलेक्टर ने पदभार ग्रहण कर लिया। हालांकि पूर्व कलेक्टर मनीष सिंह ने आदेश जारी होने के तत्काल बाद ही अपना चार्ज सौंप कर रिलीव हो गए थे।
विक्रमसिंह जाट
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