भस्मारती की अनुमति के लिए वसूली.. तीन फर्जी पत्रकार बेनकाब.. महाकाल पुलिस से शिकायत

 

उज्जैन 10 सिंतबर 2019। महाकाल मंदिर में फर्जी रूप से भस्म आरती की परमिशन बनवाने और 700 रु में प्रति श्रद्धालु के हिसाब से दिल्ली के 7 श्रद्घालुओं को परमिशन बेचने के आरोप में तीन फर्जी पत्रकार के खिलाफ मंदिर समिति ने एफआईआर दर्ज करवाई है।

श्री महाकालेश्वर मंदिर प्रबंध समिति द्वारा सुबह 4 बजे होने वाली भस्मार्ती के लिए मंदिर भस्मार्ती कार्यालय मे सहायक प्रशासक श्री मूलचंद जूनवाल द्वारा भस्मार्ती की अनुमति जारी की जाती है। मंदिर समिति के अध्यक्ष और कलेक्टर श्री शशांक मिश्र के आदेशानुसार अनुमति हेतु प्राप्त हर आवेदन का संबंधित दर्शनार्थी को मंदिर कार्यालय से फोन लगाकर सत्यापन किया जाता है।

इसी तारतम्य में 5 सितंबर को खबर 100(जनता की बुलंद आवाज) के लेटर हेड पर जिला ब्यूरो राहुल जोशी द्वारा 8 दर्शनार्थियों की अनुमति हेतु आवेदन प्राप्त हुआ था। जो महाकाल मंदिर की सुरक्षा प्रभारी सुश्री रुबी यादव द्वारा जांच करने पर लेटर हेड ओरिजनल न होकर कलर फोटोकॉपी पाया गया। उक्त लेटर हेड पर नितिन बर्फा का नाम अंकित था, उनसे बात करने पर श्री बर्फा द्वारा लेटर हेड देने और कोई अनुमति पर हस्ताक्षर करने से इनकार करने पर उन्हें जिला ब्यूरो राहुल जोशी के बारे में बताया गया तो श्री बर्फा ने कहा कि उनके द्वारा जोशी को किसी भी प्रकार के हस्ताक्षर हेतु प्राधिकृत नही किया गया है न ही राहुल जोशी द्वारा किसी अनुमति की जानकारी दी गई है अतः ये पूरी तरह अवेध व अनुचित है।

प्रधान संपादक के सत्यापन के बाद उक्त भस्मार्ती अनुमति रद्द की गई। अनुमति रद्द होने के बाद भी रात्रि 2:30 बजे दिल्ली के दर्शनार्थी श्री आदित्य कुमार अपने परिवार के 8 सदस्यों के साथ मंदिर पहुचे और अनुमति रद्द होने के कारण चेकिंग काउंटर पर उनके द्वारा हंगामा किया गया। उन्होंने बताया कि , उनके द्वारा भस्मार्ती की अनुमति हेतु रुपये 700 प्रति व्यक्ति गोपाल बैरागी को दिए गए है। उस समय ड्यूटी पर उपस्थित सुपरवाइजर महेश राव द्वारा उनसे लिखत आवेदन लिया गया ।
महाकाल सुरक्षा प्रभारी ने जब खबर 100 के संपादक से पुनः संपर्क किया तो उन्होंने स्वयं को इस घटना से पृथक करते हुए राहुल जोशी को खबर 100 से बर्खास्त कर उनके विरुद्ध कार्यवाही करने हेतु लिखा है।
उक्त पूर्ण प्रकरण में राहुल जोशी, रजत बड़वाया व गोपाल बैरागी की अवैध संलिप्तता पायी गई है।

श्री महाकालेश्वर मंदिर प्रबंध समिति के सहायक प्रशासक एवं भस्मार्ती प्रभारी श्री मूलचंद जूनवाल द्वारा महाकाल थाना प्रभारी को पत्र लिखकर कार्यवाही करने हेतु कहा गया है। उक्त तीनों का यह कृत्य विरुद्ध महाकाल मंदिर अधिनियम 1982 के अध्याय 08 की धारा 37(च) के अंतर्गत अपराध है । उक्त कृत्य से मंदिर की छवि धूमिल हुई है । इसलिये भारतीय दण्ड सहिता 1860 की सुसंगत धाराओ के अंतर्गत एफ.आई.आर कर उचित कार्यवाही हेतु कहा गया है।

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