विकास देख कांग्रेसी हुए पागल- सांसद मालवीय

(लेखक – प्रो.चिन्तामणि मालवीय ,सांसद एवं मध्यप्रदेश भाजपा प्रवक्ता )

स्वनाम धन्य राहुल गांधी ने गुजरात में वक्तव्य दिया कि विकास पागल हो गया है। राहुल गांधी को लगता है जब विकास किए बगैर साठ साल सत्ता में रहा जा सकता है तो आज विकास इतना बैचेन क्यों है। राजनीति का उद्देश्य सत्ता प्राप्ति है तो वो तो परेशान हुए बिना भी मिल सकती है।
साम्प्रदायिकता का हल्ला मचाओ। राष्ट्रविरोधी गतिविधियों में संलिप्त मुसलमानों को लामबंद करो। उनकी नाजायज मांगे मांनो। वोट मिलेंगे। विकास की क्या जरूरत ? अनुसूचित जाति और जनजाति वर्ग को अंधकार में रखो। मनरेगा, मिड डे मील और फूड सिक्योरिटी जैसे बिल लाओ। जो गरीब जनता को गरीब ही बनाए रखने में सहायक होंगे। अब उन्हें भ्रमित करो और वोट लो। जातिवाद की राजनीति कराे वोट लो। अलगाववादियों, आतंकवादियों और पाकिस्तान के प्रति नरम बने रहो वोट तो मिल ही जाते हैं। फिर विकास हैरान क्यों है ? आपके नानाजी ने कश्मीर समस्या पैदा की। देश के हजारों जवानों की बलि चढा दी। फिर भी जनता ने वोट दिया। उनकी मूर्खतापूर्ण नीति के कारण देश 1962 का युद्ध हारा और बडा हिस्सा चीन ने कब्जा कर लिया। हजारों सैनिक मारे गये फिर भी जनता ने वोट दिया। विकास को तो वो जानते पहचानते भी नहीं थे फिर भी 17 साल सरकार में रहे।
आपकी दादी ने आपातकाल लगाकर लोकतंत्र का गला घोट दिया। फिर भी केवल ढाई साल ही सत्ता से दूर रही। लोगों ने फिर से प्रधानमंत्री बनाया। आपके पूज्य पिता जी तो सीधे बोफोर्स के अपराधी थे। श्रीलंका में जबरन टांग फंसाई। हजारों सैनिक शहीद किए और भारत को शर्मिन्दा किया। लेकिन विकास की तरफ आंख नहीं उठाई । फिर भी प्रधानमंत्री रहे। हजारों चौराहे, गलियां, सडकें, योजनाएं उनके नाम है। खेलों में भी पुरस्कार इनके नाम पर है। बगैर कुछ किये और नरसिंहराव को तो पहले ऐसे प्रधानमंत्री होने का गौरव प्राप्त है जिन पर एक करोड रिश्वत का आरोप लगा और उनकी जिन्दगी कोर्ट की तारीखों में निकल गई। आज विकास परेशान क्यों है ? अब मनमोहन सिंह का क्या कहना। कहां कांग्रेस सरकार का पहला जीप घोटाला कुछेक लाख का था। वहीं आपकी सरकार ने जिसमें आप सांसद थे, पार्टी के उपाध्यक्ष भी थे दस लाख करोड़ रूपये के घोटाले किये। तब विकास चुप बैठा रहा । शांत बना रहा । अब क्यों पागल हो रहा है ?

तुम्हारी शिकायत जायज हैं । बगैर विकास के सरकार बन सकती है तो क्या जरूरत थी नोटबंदी करने की ? पाकिस्तान के आगे घटने टेकने पर वोट मिलते हैं तो सर्जिकल स्टाईक की क्या जरूरत थी ? मेक इन इंडिया में वक्त बर्बाद कर रहे हैं। वस्तुएं सीधे विदेश से मंगवाओं। जनता तो फिर भी वोट देती है। क्या जरूरत है गरीबों को पक्के मकान के लिये ढाई लाख रूपये देने की ? उसे सपना ही क्यों दिखाते हो ? उसे गरीबी में जीने दो। वो काग्रेस को वोट देगा। और रसोई गैस गरीबों के घर-घर पहुंचा रहे हैं। अरे उसे तो लकडी के चक्कर में पडा रहने दो। गैस आएगी तो सोचने का वक्त मिलेगा। फिर कोई कांग्रेस को वोट नहीं देगा।

    ये मुद्रा योजना में करोडों के लोन गरीबों को क्यों दिये ? गरीबों को क्यों परेशान कर रहे हो। उन्हें गरीबी में ही रहने दो। हर चुनाव में गरीबी हटाने का सिर्फ नारा दो। गरीबी हटाने का काम मत करो। अरे विकास! पागल मत बनो।
फिर भी विकास पागल हो गया है। कांग्रेस की 60 साल की सरकारों ने जो सोचा भी नहीं देश में वह सब हो रहा है। कांग्रेसी हैरान हैं , परेशान हैं कि अब चुनावी मुद्दे कहां से लाएंगे गरीबी नहीं रहेगी तो गरीबी हटाने का नारा कहां लगाएंगे । देश में *सबका साथ सबका विकास* नीति सफल हो रही है । अब सांप्रदायिकता कैसे फैला पाएंगे। देश में कानून का शासन स्थापित हो रहा है ।अब बूथ कैप्चरिंग के लिए गुंडे कहां से लाएंगे।
जिस पार्टी में सिर्फ और सिर्फ एक खास परिवार ही सब कुछ माना जाता है । वे लोग कैसे सहन कर सकते हैं कि उनके भ्रष्ट नेताओं की परंपरा की जगह एक सामान्य आदमी देश और दुनिया में भारत की विजय पताका फहरा रहा है ।
कांग्रेस और राहुल गांधी का पागल होना लाजिमी है क्योंकि देश उनके बिना बहुत ही व्यवस्थित तरीके से चल रहा है । हे पागलपंथी के पुरोधा, यदि तुम्हारे पास 60 साल की असफलताओं, अव्यवस्थाओं, निकम्मेपन, तानाशाही और भ्रष्टाचार के काले कारनामों की लंबी सूची है तो हमारे पास उससे कहीं अधिक लंबी 3 वर्षों में किए गए चहुमुखी विकास कार्यों की फेहरिस्त है । लोकतंत्र में जनता ही निर्णायक होती है
और जनता मोदी जी के साथ है इसलिए विकास तो और पागल होगा ।

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