देशभर में ठगी करने वाला इंदौर का व्यापारी गिरफ्तार

 

*लाखों रुपये की धोखाधड़ी के मामले में फरार आरोपी क्राईम ब्रांच इंदौर की गिरफ्त में।*

*आरोपी को नागपुर से किया गिरफ्तार, ड्राय फू्रट व्यापारी ने की थी कई लोगों से धोखाधड़ी ।*

*कई ड्राय फू्रट फर्म संचालको को लगाया था चूना, दिल्ली, नागपुर, इंदौर, येवतमाल, चंद्रपुर तथा रायपुर के व्यापारियों से की थी धोखाधड़ी।*

*रूपये हड़पकर, नागपुर से फर्म बंद कर छत्तीसगढ़ चला गया था आरोपी, कई मामलों में चल रहा था फरार।*

पुलिस उपमहानिरीक्षक श्री हरिनारायणाचारी मिश्र इन्दौर (शहर) द्वारा विभिन्न प्रकार की ठगी/धोखाधड़ी के अपराधों को अंजाम देकर, फरार चल रहे आरोपियों की पतारसी कर उनकी धरपकड़ करने बावत् इंदौर पुलिस को निर्देशित किया गया था। उक्त निर्देशों के तारतम्य मे पुलिस अधीक्षक (मुख्यालय) इंदौर श्री मो0 यूसुफ कुरैशी के मार्गदर्शन में अतिरिक्त पुलिस अधीक्षक क्राईम ब्रांच श्री अमरेन्द्र सिंह व्दारा क्राईम ब्रांच की एक टीम का गठन किया जाकर उसको इस दिशा में प्रभावी कार्यवाही हेतु समुचित निर्देश दिये गये।
क्राईम ब्रांच इंदौर की टीम को सूचना प्राप्त हुई थी कि थाना सेंट्रल कोतवाली में पंजीबद्ध अपराध क्र 139/18 धारा 406, 34 भादवि में आरोपी अमर तनवानी तथा इंदर तनवानी फरार चल रहें है। उपरोक्त दोनों आरोपी बड़े स्तर पर भारत के कई राज्यों में मसालों तथा ड्राय फ्रूट की ट्रेडिंग करते थे तथा दिल्ली, मुम्बई, नागपुर, इंदौर, रायपुर, में व्यापक स्तर पर व्यापार करने के अलावा ये लोग राष्ट्र के बाहर भी अन्य देषों में कीमती तथा अच्छे किस्म के ड्राय फ्रूटों का आयात निर्यात करते थे। उक्त दोनों आरोपियों ने इंदौर में स्थित फर्म मेसर्स दलाल एम0 श्यामलाल एण्ड संस पर दलाली का कार्य करने वाले विष्णु प्रजापति पिता श्री मदनलाल प्रजापति निवासी – सियागंज इंदौर को व्यापारिक दृष्टिकोंण से भेरोसे में लेकर उनके साथ मिलकर मसालों तथा ड्राय फ्रूट की ट्रेडिंग का काम शुरू किया तथा दोनों आरेापियों ने विष्णु प्रजापति को बताया कि वह लोग मेसर्स महादेव ट्रेडर्स नागपुर में मसालों तथा ड्राय फ्रूट की ट्रेडिंग करते हैं जिनकी फर्म की वहां अच्छी शाखा व प्रतिष्ठा है। दोनों आरेापियों ने इस प्रकार प्रवंचना पूर्वक छलकपट से इंदौर में स्थित फर्म मेसर्स दलाल एम0 श्यामलाल एण्ड संस के दलाल विष्णु प्रजापति पिता श्री मदनलाल प्रजापति से उधार में माल दिलाने का अनुरोध किया तथा यह विष्वास दिलाया कि उपरोक्त माल का विक्रय कर प्राप्त राषि से वह उधारी की राषि नियत समयावधि में लौटा देगें। आरोपियों की बातों में आकर मेसर्स दलाल एम0 श्यामलाल एण्ड संस ने इंदौर के विभिन्न व्यापारियों की फर्मों से दलाली करते हुये अलग अलग किस्तों में आरोपियों को मसालों तथा ड्राय फ्रूट की ट्रेडिंग वास्ते 50 लाख रूपये का माल उधारी पर दिलाया जोकि आरोपियों ने रायपुर तथा नागपुर में स्थित फर्मो के माध्यम से बेच दिया था, किंतु शेष उधारी की 22 लाख 67 हजार रूपये राषि चुकाने में दोनों आरेापी आनाकानी कर टालामटोली करते रहे तथा आरेापियों ने फर्म से लिये गये माल के संबंध में उधारी के 22 लाख 67 हजार रूपये की राषि ना चुकाते हुये उक्त राषि स्वयं हड़प ली। उपरोक्त प्रकार से छलपकट कर प्रवंचनापूर्वक की गई 22 लाख 67 हजार रूपये की धोखाधड़ी के संबंध में थाना सेंट्रल कोतवाली पर दोनों आरोपियों अमर तथा इंदर तारवानी के विरूद्ध अपराध क्र 139/18 धारा 406, 34 भादवि के तहत पंजीबद्ध किया गया था जिसमें आरोपीगण आज दिनांक तक फरार चल रहे थे। फरार अरोपियों की पतारसी के दौरान आरोपी अमर पिता इंदर तारवानी के संबंध में क्राईम ब्रंाच की टीम को सूचना मिली थी कि आरोपी, इतवारी नागपुर में रह रहा है जिस पर त्वरित कार्यवाही करते हुये आरोपी की गिरफ्तारी हेतु क्राईम ब्रांच इंदौर की टीम नागपुर रवाना हुई जहां से आरेापी अमर तारवानी पिता इंदर तारवानी उम्र 20 साल को घेराबंदी कर क्राईम ब्रांच की टीम ने धरदबोचा।
आरेापी अमर तारवानी ने पुलिस टीम को बताया कि वह कक्षा 10 वीं तक पढ़ा है जोकि मेसर्स महोदव किराना ट्रेडर्स के नाम से मसालों तथा ड्राय फू्रट का मर्चेण्ट का काम देखता है उक्त फर्म आरेापी अमर तथा उसके पिता इंदार तारवानी दोनों मिलकर चलाते हैं। आरोपी ने बताया कि वह दिल्ली इंदौर हैदराबाद बोड़ी (तमिलनाडु) पलासा (आंध्रप्रदेष) के व्यापारियों से से थोक भाव में समस्त प्रकार के ड्राय फू्रट का व्यापार कर नागपुर, रायपुर, येवतमाल, तथा चंद्रपुर के व्यापारियों को सप्लाय करते थे लेकिन अमेरिका से निर्यात होने वाले ब्लू डायमण्ड कंपनी के बादाम को दिल्ली के एक व्यापारी से खरीददारी के चक्कर में बड़ा घाटा हुआ चूॅकि वह डील 48 लाख रूपये की थी किंतु कस्टम डृयूटी जमा ना होने के कारण उपरोक्त माल पकड़ा गया तथा सारा पैसा डूब गया। आरोपी ने बताया कि उक्त घाटे के बाद उसने इंदौर में विष्णु प्रजापति नामक दलाल से संपंर्क किया जिसने उसे पहली बार में 50 लाख रूपये का माल इंदौर के विभिन्न व्यापारियों की अलग अलग फर्माें से उधारी पर दिलाया था जिसके एवज में उसने 27 लाख रूपये लौटाये थे किंतु 22 लाख 67 हजार रूपये करीब उधार शेष चुकाना बाकी रह गये थे। आरोपी ने बताया कि व्यापार में घाटे के बाद से वह नागपुर छोड़कर रायपुर चला गया था तथा वहीं व्यापार करने लगा था तथा सारे संपंर्क सूत्र आदि बदल लिये थे ताकि किसी से कोई बात चीत ना हो। आरोपी ने 22 लाख 67 हजार रूपये राषि हड़पना स्वीकार किया है जबकि आरेापी के संबंध में अधिक जानकारी एकत्रित करने पर यह ज्ञात हुआ कि उसकी फर्म का टर्न ओवर करोडों रूपये में होता था जिसने ना सिर्फ इंदौर में बल्कि इंदौर के अलावा अन्य कई शहरों के व्यापारियों के साथ इस प्रकार की धोखाधड़ी से लाखों रूपये का अवैध लाभ अर्जित किया है। आरोपी ने इस प्रकार की धोखाधड़ी की वारदातों को अंजाम दिया जाना कबूल करते हुये बताया कि उसे करोड़ों रूपये चुकाने है इसलिये उसने नागपुर की फर्म बंद कर रायपुर में काम शुरू कर दिया था ताकि उधारी की राषि हड़प सके।
आरोपी को पकड़कर थाना सेंट्रल कोतवाली पुलिस के सुपुर्द किया है जिससे विस्तृत पूछताछ की जा रही है। आरोपी का पिता इंदर तारवानी वर्तमान में फरार चल रहा है जिसकी तलाष की जारी है।

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