डाक्टर का दावा- शराब पिलाकर 50 कोरोना मरीजों को ठीक किया

शराब से भागेगा कोरोना, डॉक्टर का दावा

 डॉक्टर अरुण भिसे ने किया दावा

अब तक 40- 50 मरीजों को ठीक कर चुके हैं

उन्होंने कहा कि किसी भी मरीज की अब तक मौत नहीं हुई है

अहमदनगर (एजेंसी)। देश में कोरोना की दूसरी लहर से हाहाकार मचा हुआ है। हर दिन 3 लाख से ज्यादा कोरोना मरीजों का आंकड़ा सामने आ रहा है। इस महामारी से निपटने के लिए सभी प्रकार के प्रयास किए जा रहे हैं। कोरोना वायरस को खत्म करने की कोई अचूक दवा अभी तक नहीं बन पाई है। फिलहाल कोरोना वैक्सीन के जरिए लोगों को इस बीमारी से दूर रखने का प्रयास किया जा रहा है। एक तरफ जहां कोरोना के लिए रेमडेसिविर इंजेक्शन का इस्तेमाल किया जा रहा है तो दूसरी तरफ कोरोना मरीजों को शराब पिलाकर ठीक करने का अजीबो गरीब दावा महाराष्ट्र के डॉक्टर अरुण भिसे नेे किया है। हालांकि उज्जैन चर्चा.काॅम ऑनलाइन ऐसे किसी दावे का समर्थन नहीं करता है।

क्या है डॉक्टर का दावा
डॉक्टर अरुण भिसे के मुताबिक कोरोना पॉजिटिव पाए जाने के बाद सबसे पहले नजदीकी डॉक्टर की सलाह लेनी चाहिए। बाद में कोरोना की तीव्रता को देखते हुए टास्क फोर्स द्वारा बताई गई दवाइयों को लिया जाना चाहिए। उन्होंने बताया कि जिस दिन आपके मुंह का स्वाद चला जाए और भूख कम लगने लगे। उस दिन से जिन चीजों में 40% से ज्यादा अल्कोहल है। ऐसी कोई भी शराब फिर चाहे वह देशी शराब हो,वोडका हो, ब्रांडी हो या व्हिस्की हो, उसे लेना चाहिए। 30 मिलीलीटर शराब और 30 मिलीलीटर पानी मिलाकर मरीज को दिया जाना चाहिए।

कोरोना वायरस और अल्कोहल का संबंध
कोरोना मरीजों को शराब देने के पीछे डॉ. अरुण ने कुछ कारण भी बताए हैं। उन्होंने कहा कि कोरोना वायरस ऊपरी परत लिपिड की है जो अल्कोहल के संपर्क में आने से नष्ट हो जाती है। इसी वजह से सैनिटाइजर से हाथ धोने की सलाह दी जाती है। शराब पीने के बाद वो खून की नालियों के जरिये 30 सेकंड में पूरे शरीर में पहुंचती है। फेफड़ों के बाद शराब हवा के संपर्क में आती है और वायुमार्ग से बाहर निकल जाती है। इस प्रक्रिया के दौरान शरीर मे मौजूद कोरोना वायरस निष्क्रिय हो जाता है। कोरोना कॉल में मरीजों को काफी मानसिक तनाव होता है। इस तनाव को कम करने का काम यह शराब करती है।

40 से 50 मरीजों को सलाह
डॉक्टर से बताते हैं कि उन्होंने अब तक 40 से 50 मरीजों को शराब पीने की सलाह दे चुके हैं। दवाइयों के साथ सीमित मात्रा में शराब के सेवन की भी बात वह मरीजों को कहते हैं। उन्होंने बताया कि उनकी इस तकनीक से 40 से 50 मरीज अब तक ठीक हो चुके हैं। जिसमें से 10 मरीज गंभीर रूप से बीमार थे। अभी तक एक भी मरीज की मौत नहीं हुई है।

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